Thursday, December 26Welcome to hindipatrika.in

धर्मार्थ पक्षी अस्पताल – एक नयी ज़िंदगी और नई उड़ान , पक्षियों का अस्पताल !

Birds

लोग सच कहते है की बेज़ुबान अपना दर्द बाया नहीं कर पाते लेकिन हमारे ही समाज में कुछ ऐसे लोग भी है जो दर्द को पहचान लेते है ऐसा ही कुछ है दिल्ली का  धर्मार्थ पक्षी अस्पताल |

इंसान के जख़्मों को तो लोग बखूबी पहचानते है और उन जख़्मों पर तो मरहम भी लग जाता है, लेकिन परिंदों का क्या जो बेज़ुबान होते हैं, वे अपने दर्द को बयाँ नहीं कर पाते है और बे मौत तड़प तड़प कर मर जाते है |

हमारे समाज में जब पड़ोसी के घर कोई कस्ट में होता है तो मोहल्ले वाले भी जा कर समाचार लेते है लेकिन क्या किसी ने सोच कई आप के पड़ोस में पक्षियों का भी घर होता है, कभी आप उनका भी खबर ले ओ कैसे है किसी कस्ट में तो नहीं है |

भारत की राजधानी दिल्ली के चांदनी चौक में, लालकिले के पाश पक्षियों के धर्मार्थ चिकित्सालय की स्थापना 1929 में की गई थी, जो घायल पक्षियों को नयी ज़िंदगी दे रहा है यह पूरी दिल्ली में एक ऐसा अस्पताल है जो  बेज़ुबान के मसीहा है । जहाँ पर लोग दूर-दूर से घायल पक्षियों का इलाज करवाने अस्पताल में आते हैं।

90 सालों से यह अस्पताल अपने सेवा में कार्य रत है जिसका ख़र्चा और रख-रखाव स्वैच्छिक अनुदानों से ही सफलता पूर्वक चल रहा है। इनका इलाज खुले आसमान के निचे होता है ताकि ये अपना उडान भर सके बिलकुल पिंजरे से बहार | यह उडान वाकई में देखने लायक है | यदि आप के आस पाश बेज़ुबान जो इलाज के लिए तड़प रहे है तो आप जरुर संपर्क करे धर्मार्थ पक्षी अस्पताल से और उन बेज़ुबान को एक नहीं जिंदगी दे सकते है |

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Share via
Copy link
Powered by Social Snap